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सोशल मीडिया पर कोरोना को लेकर भ्रामक खबरें वायरल की तो होगी वैधानिक कार्रवाई


जिला दण्डाधिकारी द्वारा धारा-144 के तहत प्रतिबंधात्मक आदेश जारी 



ग्वालियर 15 अप्रैल 2021/ ट्विटर, फेसबुक, वॉट्सएप, इंस्टाग्राम व यू-ट्यूब इत्यादि सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर कोरोना को लेकर गलत व झूठी खबरें, आपत्तिजनक संदेश, वीडियो, तस्वीरें व ऑडियो क्लिप्स इत्यादि प्रसारित करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी। कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने दण्ड प्रक्रिया संहिता की धारा-144 के तहत इस संबंध में प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया है। इस आदेश के उल्लंघन पर भारतीय दण्ड संहिता की धारा-188 और सूचना एवं प्रोद्योगिकी एक्ट के प्रावधानों के तहत वैधानिक कार्रवाई की जायेगी। 

वर्तमान में वैश्विक महामारी कोरोना के संक्रमण को रोकने के लिए शासन व प्रशासन द्वारा अनेक कदम उठाए गए हैं। इस सिलसिले में कोरोना संक्रमितों को बेहतर से बेहतर इलाज मुहैया कराने के लिये अस्पताल प्रबंधन, दवाओं के इंतजाम व एम्बूलेंस की व्यवस्था की व्यवस्था भी की गई है। साथ ही होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को दवाएँ मुहैया कराने के साथ-साथ उन्हें वीडियो कॉलिंग के जरिए नियमित रूप से चिकित्सकीय सलाह भी दी जा रही है। प्रशासन के ध्यान में यह बात आई है कि कुछ लोगों द्वारा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर कोरोना को लेकर भ्रामक खबरें फैलाने से जनता के बीच पैनिक की स्थिति निर्मित होती है। साथ ही सरकारी मशीनरी के प्रति उत्तेजना भड़काने के प्रयास भी असमाजिक तत्वों द्वारा सोशल मीडिया के जरिए किए जाते हैं। इस प्रकार के संदेश कई बार विभिन्न समुदायों की भावना को भड़काने का कार्य भी करते हैं। इन सब बातों को ध्यान में रखकर कलेक्टर एवं जिला दण्डाधिकारी श्री कौशलेन्द्र विक्रम सिंह ने मानव स्वास्थ्य, सुरक्षा व लोक शांति बनाए रखने के उद्देश्य से धारा-144 के तहत प्रतिबंधात्मक आदेश जारी किया है। 

आदेश में स्पष्ट किया गया है कि कोई भी व्यक्ति या समूह सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म मसलन ट्विटर, फेसबुक, वॉट्सएप, इंस्टाग्राम व यू-ट्यूब इत्यादि पर कोरोना से संबंधित कोई भी भ्रामक खबर, वीडियो, ऑडियो, फोटोग्राफ, मीम इत्यादि न तो स्वयं भेज सकेगा और न ही शेयर व फारवर्ड किए जा सकेंगे। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि ऐसी खबरें जो असत्य हों और जिनके तथ्यों की पुष्टि नहीं की गई हो, साथ ही किसी समुदाय या धर्म के प्रति अपमानजनक व भेदभावपूर्ण हों और जिनसे आम जनता में भय, संशय या भ्रांति की स्थिति निर्मित होने की संभावना हो, ऐसी खबरें कदापि वायरल न की जाएँ। 

जिला दण्डाधिकारी द्वारा वर्तमान परिस्थितियों को ध्यान में रखकर एक पक्षीय आदेश पारित किया गया है। इस आदेश से प्रभावित व्यक्ति दण्ड प्रक्रिया संहिता की धारा-144 – 5 के तहत जिला दण्डाधिकारी के न्यायालय में आवेदन प्रस्तुत कर सकेगा। अत्यंत विशेष परिस्थिति में जिला दण्डाधिकारी संतुष्ट होने पर आवेदक को लागू शर्तों से छूट दे सकेंगे। 


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